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अजमेर के तारागढ़ किले का दौरा करेगी ‘चक्रवर्ती सम्राट पृथ्वीराज चौहान’ की कास्ट

चक्रवर्ती सम्राट पृथ्वीराज चौहान' 4 जून से हर रात 7:30 बजे सोनी एंटरटेनमेंट टेलीविजन और सोनीलिव पर प्रसारित होगी। ये शो 12वीं सदी के राजपूत राजा पृथ्वीराज चौहान की जिंदगी पर आधारित है, जिन्हें उनकी बहादुरी और मोहम्मद गौरी के हमलों के खिलाफ डटकर लड़ने के लिए जाना जाता है

अजमेर के तारागढ़ किले का दौरा करेगी ‘चक्रवर्ती सम्राट पृथ्वीराज चौहान’ की कास्ट

मुंबई – चक्रवर्ती सम्राट पृथ्वीराज चौहान की कहानी ज़्यादातर उनकी मशहूर प्रेम कथा राजकुमारी संयोगिता के साथ के इर्द-गिर्द की ही सुनाई जाती रही है। सोनी एंटरटेनमेंट की नई सीरीज़ ‘चक्रवर्ती सम्राट पृथ्वीराज चौहान’ आने वाली है, वो इस नज़रिए को बदलने वाली है। इस बार केंद्रित होगा उस योद्धा सम्राट पर, जिसकी बहादुरी, तेज़ दिमाग़ और बेमिसाल सैन्य रणनीति ने 12वीं सदी में इतिहास रच दिया था। शो में दिखाया जाएगा वो ऐतिहासिक मोड़, जब पृथ्वीराज चौहान ने मोहम्मद गौरी के खिलाफ निर्णायक जंग लड़ी थी। सोनी एंटरटेनमेंट टेलीविजन पर 4 जून से शुरू होने वाले शो चक्रवर्ती सम्राट पृथ्वीराज चौहान के प्रमोशन के लिए शो की 7 जून को जयपुर से अजमेर के ऐतिहासिक तारागढ़ किले की ओर रवाना होगी। इस खास मौके पर शो के प्रमुख कलाकार रोनित रॉय और नन्हे उर्वा सवालिया भी मौजूद रहेंगे, जो दौरा करते हुए पृथ्वीराज चौहान के शौर्य और विरासत से दर्शकों को रूबरू कराएंगे। यह किला राजा पृथ्वीराज चौहान की वीरगाथाओं का साक्षी रहा है, ऐसे में शो की टीम का यहां पहुंचना ऐतिहासिक मायने रखता है। रोनित और उर्वा किले का दौरा कर दर्शकों के साथ शो से जुड़े ऐतिहासिक पहलुओं को साझा करेंगे, ताकि लोग इस महान योद्धा के जीवन और संघर्ष को और गहराई से समझ सकें।

‘चक्रवर्ती सम्राट पृथ्वीराज चौहान’ 4 जून से हर रात 7:30 बजे सोनी एंटरटेनमेंट टेलीविजन और सोनीलिव पर प्रसारित होगी। ये शो 12वीं सदी के राजपूत राजा पृथ्वीराज चौहान की जिंदगी पर आधारित है, जिन्हें उनकी बहादुरी और मोहम्मद गौरी के हमलों के खिलाफ डटकर लड़ने के लिए जाना जाता है। शो की कहानी पूरी तरह हमारे इतिहास में रची-बसी है। मेकर्स ने सेट, कपड़े, डायलॉग और युद्ध के सीन, हर एक चीज़ को असली लुक देने की पूरी कोशिश की है, ताकि दर्शक उस दौर की भव्यता और पृथ्वीराज के जज़्बे को करीब से महसूस कर सकें।
प्रस्तुति : काली दास पाण्डेय

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